इकोनॉमी | 6-मिनट में पढ़ें

तो क्या मान लें कि अर्थव्यवस्था अब पटरी पर आने की राह पर चल पड़ी है?
विश्व के अन्य मुल्कों की तरह भारत (India) भी कोरोना (Coronavirus) की चपेट में है. क्योंकि अभी तक वैक्सीन (Coronavirus Vaccine) नहीं आई है इसलिए जान जीवन और अर्थव्यवस्था (Economy) दोनों ही अस्त व्यस्त है मगर अब जिस तरह धीरे धीरे चीजें पटरी पर लौट रही हैं उसे देखना अपने में सुखद है.इकोनॉमी | 5-मिनट में पढ़ें

Loan Moratorium क्या है, जिसके खत्म होने की खबर ने EMI जमा करने वालों की नींद उड़ा दी
कोविड 19 महामारी (Covid 19 pandemic) की वजह से आरबीआई (RBI) ने लोन मोरेटोरियम (Loan Moratorium) स्कीम के तहत कर्जदारों को ईएमआई (EMI) भरने से 6 महीने की जो राहत दी थी, वह अवधि 31 अगस्त को खत्म हो रही है. ऐसे में सितंबर महीने से कर्जदारों को जेब खाली करनी पड़ेगी और मासिक किस्त का भुगतान करना पड़ेगा.इकोनॉमी | 4-मिनट में पढ़ें

बैंकों के राष्ट्रीयकरण के 50 साल, जानिए भारतीय बैंकिंग की तस्वीर कैसे बदली
1969 में तत्कालीन सरकार द्वारा14 सबसे महत्वपूर्ण बैंकों का राष्ट्रीयकरण (Nationalisation Of Banks In India) किया गया.उसके बाद जैसी स्थितियां बनीं कहा जा सकता है कि भारतीय बैंकिंग सेवाओं(Indian Banking Services) की दिशा में तब एक बहुत बड़ा कदम उठाया गया था.इकोनॉमी | 4-मिनट में पढ़ें

Coronavirus outbreak: 'वर्क फ्रॉम होम' नहीं बन सकता 'नया नार्मल'!
कोरोना वायरस (Coronavirus) के चलते लोग अपने अपने घरों से ही काम करने को मजबूर हैं. कहा यही जा रहा है कि भविष्य में भी इसे बढ़ावा दिया जाएगा मगर ऐसे तमाम कारण हैं जो बता रहे हैं कि वर्क फ्रॉम होम (Work From Home) इंडिया (India) के लिहाज से कहीं से भी ठीक नहीं है और तमाम चीजें हैं जिसे ये प्रभावित करेगा.इकोनॉमी | 6-मिनट में पढ़ें

उद्योगपतियों की कर्ज माफी का झूठ बेनकाब करने का वक्त आ गया है!
बढ़ते हुए एनपीए (NPA) से न केवल आरबीआई (RBI) परेशान हैं बल्कि इसने वित्त मंत्रालय और वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman) तक को चिंता में दाल दिया है. आज जो लोग बैंकों (Banks) का पैसा लेकर भागे हैं और बैंकों ने जिनका राइट ऑफ (Write Off) कर दिया है वीओ जान लें राइट ऑफ का मतलब कर्जे (Debts) से माफ़ कर देना नहीं है.इकोनॉमी | 5-मिनट में पढ़ें

कोरोना के बाद EPFO से करोड़ों निकालती जनता पीएम मोदी की दूसरी बड़ी चुनौती है!
लॉकडाउन के इस दौर में EPFO से जिस तरह तरह लोगों की एक बड़ी संख्या ने पैसा निकाला है उसने इतना तो साफ़ कर ही दिया है कि कहीं न कहीं जनता डरी हुई है. साथ ही अब उसका ये डर देश की अर्थव्यवस्था (Economy) और सरकार के अलावा पीएम मोदी (PM Modi ) को डराने के स्तर पर आ गया है.इकोनॉमी | 3-मिनट में पढ़ें
इकोनॉमी | 4-मिनट में पढ़ें

Coronavirus: बैंक वालों ने तो राहत के नाम पर सबकी जेब काट ली!
कोरोना वायरस लॅाकडाउन (Coronavirus Lockdown) के दौरान सबकुछ बंद पड़ा है, निम्न तबका तो परेशानी से जूझ ही रहा है साथ ही मध्यम वर्ग और उच्च वर्ग के लोग भी चिंतित हैं, उनकी आखिरी उम्मीद बैंक (Bank) से थी, जिसको बैंक ने अपने गणित से और परेशानियों को बढ़ा दिया है.इकोनॉमी | बड़ा आर्टिकल

Coronavirus का असर- भारतीय अर्थव्यवस्था को चीनी सहारा
जब सारी दुनिया कोरोना (Coronavirus) के कहर से निकलने के लिए कोशिश कर रही है, तब चीन (China ) में कमोबेश हालात सुधर चुके हैं. वहीं बात अगर भारत की हो तो यहां कोरोना वायरस का सीधा असर देश की अर्थव्यवस्था (Economy) पर देखने को मिल रहा है और देश लगातार पिछड़ रहा है.इकोनॉमी | 6-मिनट में पढ़ें
इकोनॉमी | 3-मिनट में पढ़ें
