सियासत | 5-मिनट में पढ़ें
यूपी के चार जिले, जिन्हें भाजपा के लिए कांटा समझा गया, लेकिन वहां कमल जमकर खिला!
यूपी विधानसभा चुनाव 2022 (UP Election 2022) में भाजपा के सामने लखीमपुर खीरी में किसानों को कुचले जाने की घटना, हाथरस रेप कांड, उन्नाव रेप कांड और सोनभद्र में दलित नरसंहार के मामलों के चलते चर्चाओं में रहे जिलों में मजबूत प्रदर्शन करने का संकट था. लेकिन, सीएम योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में भाजपा ने इन जिलों में एक नई ही कहानी गढ़ दी.
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प्रियंका गांधी की राजनीतिक घेरेबंदी में योगी आदित्यनाथ फंस कैसे जाते हैं?
प्रियंका गांधी (Priyanka Gandhi Vadra) के राजनीतिक दबाव में योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) यूपी में कांग्रेस की बसों (Congress 1000 Buses) को एंट्री देने को राजी हो गये हैं - ये दूसरा मौका है जब योगी आदित्यनाथ पर दबाव बनाने में प्रियंका गांधी कामयाब रही हैं - कोई खास वजह?
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Priyanka Gandhi का यूपी में सबसे बड़ा चैलेंजर- योगी, मायावती या अखिलेश यादव?
प्रियंका गांधी भी यूपी में (UP Politics) राहुल गांधी जैसी ही राजनीति कर रही हैं. क्या प्रियंका गांधी (Priyanka Gandhi and Rahul Gandhi) को मालूम है कि कांग्रेस के लिए बीजेपी, बीएसपी और समाजवादी पार्टी (Yogi Adityanath Mayawati and Akhilesh Yadav) में से सबसे बड़ी चुनौती कौन है?
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सोनभद्र को सिंगूर बनाने निकलीं प्रियंका गांधी वाड्रा धारा 370 से क्यों उलझ गईं!
यूपी के उम्भा गांव का मसला प्रियंका गांधी के लिए तकरीबन वैसा ही है जैसा कभी ममता बनर्जी के लिए सिंगूर हुआ करता रहा. महीने भर के अंतराल में प्रियंका वाड्रा सोनभद्र के उम्भा गांव पहुंची भी - लेकिन एक बड़ी गलती भी कर दी है.
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योगी आदित्यनाथ सरकार की कमजोर नस को जोर से दबाता विपक्ष
इसमें कोई दो राय नहीं है कि, सोनभद्र और उन्नाव हादसों ने यूपी में हताश, निराश और बेदम विपक्ष को फिर से जिंदा करने का काम किया है. इन हादसों और वारदातों के अलावा कई ऐसी घटनाएं भी हो रही हैं जो राज्य में कानून व्यवस्था के दावों पर सवाल खड़े कर रही हैं.
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प्रियंका गांधी की चुनौती योगी या मोदी नहीं, बल्कि इंदिरा गांधी हैं
प्रियंका गांधी ने इंदिरा गांधी स्टाइल में सोनभद्र के पीड़ितों से मुलाकात भी कर ली है और उसके लिए उन्हें हाथी की सवारी भी नहीं करनी पड़ी है - प्रियंका जितना जल्दी समझ जायें कि उन्हें योगी या मोदी से चुनौती नहीं, बल्कि इंदिरा की छवि की कैद से बाहर निकलना है, बेहतर होगा.
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