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सियासत | बड़ा आर्टिकल
अपने बचकाने बयानों से उबर कर कब सीरियस होंगे राहुल गांधी
केरल में चुनाव प्रचार के दौरान राहुल गांधी ने उत्तर भारतीय मतदाताओं की राजनीतिक समझ को दक्षिण भारत के मतदाताओं से कमजोर बता दिया था. उनके इस बयान पर जी-23 के असंतुष्ट नेताओं ने ही उन पर सवाल उठा दिए थे. गाहे-बगाहे राहुल गांधी अपने बयानों को लेकर चर्चा में बने ही रहते हैं.
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नीतीश कुमार के दलित कार्ड के बाद सवर्ण कार्ड हैं IPS गुप्तेश्वर पांडेय
गुप्तेश्वर पांडेय (Gupteshwar Pandey) अगर बिहार चुनाव (Bihar Election 2020) के मैदान में उतरते हैं तो वो नीतीश कुमार (Nitish Kumar) का सवर्ण चेहरा होंगे - ऐसा नहीं कि बिहार में सवर्ण नेताओं की कोई कमी है, लेकिन बाहुबलियों के बीच एक ऐसा चेहरा होगा जो पूरी जिंदगी कानून का रखवाला रहा हो!
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मोदी की हत्या की साजिश पर संजय निरूपम का बयान मणिशंकर अय्यर से ज्यादा घटिया है!
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की हत्या की साजिश पर संजय निरूपम का बयान समझ से परे है. इंदिरा गांधी और उसके बाद राजीव जैसी ही एक और प्रधानमंत्री की हत्या की साजिश पर कांग्रेस का कोई नेता ऐसी बातें कैसे कर सकता है. राहुल गांधी भी सुन रहे हैं क्या?
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