सियासत | 3-मिनट में पढ़ें

यूपी की सियासत पर अब पूरी तरह काबिज हो गए हैं योगी आदित्यनाथ
आगामी लोकसभा चुनाव में यूपी ही तीसरी बार जीत के लिए भाजपा का रामबाण बन सकता है. तमाम राजनीतिक विश्लेषक मानते हैं कि योगी आदित्यनाथ की हिन्दुत्व और विकास के मॉडल वाली छवि राष्ट्रीय ख्याति हासिल कर रही है. भाजपा के लिए योगी का चेहरा और लोकप्रियता लोकसभा चुनाव जीतने का रामबाण बन सकता है.
सियासत | 7-मिनट में पढ़ें

लालू यादव की 'वापसी' से बिहार की सियासत पर क्या फर्क पड़ेगा, जानिये
सामाजिक न्याय के मसीहा लालू प्रसाद कब किसकी राजनीति की बखिया उधेड़ दें, यह समझना किसी के बस की बात नहीं. राजनीतिक विशेषज्ञ यह मानते हैं कि इस खास समय में सबसे ज्यादा सावधान अगर कोई नेता होंगे तो वे हैं नीतीश कुमार. ऐसा इसलिए कि एक समय लालू और नीतीश की जोड़ी काफी मशहूर थी.
सियासत | 7-मिनट में पढ़ें

किसकी सियासी गाड़ी दौड़ेगी सरपट, नरेंद्र मोदी की रैली के जरिए पूर्वी राजस्थान पर नजर
पूर्वी राजस्थान के दौसा जिले में 12 फरवरी को प्रधानमंत्री मोदी का कार्यक्रम हुआ. वहीं इस महीने के आखिर में अमित शाह भी भरतपुर आ सकते हैं. बताया जा रहा है कि पार्टी के दोनों बड़े नेताओं का दौरा इसी महीने होना है ऐसे में भाजपा पूर्व में कांग्रेस के वोटबैंक में बड़ी सेंधमारी करना चाहती है.
सियासत | 3-मिनट में पढ़ें

कर्नाटक विधानसभा हॉल वीर सावरकर की तस्वीर पर राजनीति हुई गर्म!
चुनाव होने में भले ही अभी ठीकठाक वक़्त बचा हो लेकिन कर्नाटक का सुर्ख़ियों में आना दस्तूर हो गया है. ताजा मामला जुड़ा है विधानसभा हाॅल में वीर सावरकर की तस्वीर से. जिसके चलते कर्नाटक में विपक्ष की भूमिका निभाने वाली कांग्रेस ने विधानसभा के बाहर जमकर हंगामा काटा, और सरकार के इस फैसले की आलोचना की.
सियासत | 6-मिनट में पढ़ें

जहरीली शराब के शिकार लोगों से कैसी सहानुभूति? नीतीश कुमार सही तो कह रहे हैं
बिहार में जहरीली शराब पीने से हुई लोगों की मौत के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का एक बयान वायरल हो रहा है. बयान में नीतीश ने कहा है कि शराब पीयोगे तो मरोगे ही. भले ही नीतीश के इस बयान पर नीतीश की आलोचना हो. लेकिन जब हम अस्पताल से आती तस्वीरों को देखें, तो नीतीश कहीं भी गलत दिखाई नहीं पड़ते.
समाज | 2-मिनट में पढ़ें
सियासत | बड़ा आर्टिकल

राज भवन को घेरने के अलावा हेमंत सोरेन के सर्वाइवल किट में क्या क्या है?
झारखंड में राजनीतिक संकट (Jharkhand Political Crisis) जल्दी खत्म होने वाला नहीं लगता. हेमंत सोरेन (Hemant Soren) की विधानसभा सदस्यता को लेकर स्टेटस अपडेट के अभाव में तरह तरह की चर्चाएं हो रही हैं - और सारी बातों के लिए राज भवन (Governor) को कठघरे में खड़ा किया जा रहा है.
सियासत | 3-मिनट में पढ़ें

Jharkhand Political Crisis: हेमंत सोरेन के पास अभी भी खुले हैं कई विकल्प
झारखंड (Jharkhand Political Crisis) के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन (Hemant Soren) की विधानसभा सदस्यता पर तलवार लटक रही है. क्योंकि, चुनाव आयोग की रिपोर्ट पर राज्यपाल रमेश बैस ने एक्शन लेने की अनुशंसा कर दी है. इस स्थिति में सवाल उठना लाजिमी है कि अगर हेमंत सोरेन की विधानसभा सदस्यता रद्द कर दी जाती है, तो उनके पास क्या विकल्प हैं?
सियासत | 4-मिनट में पढ़ें
