शलभ मणि त्रिपाठी
shalabh.tripathi
लेखक वरिष्ठ पत्रकार और राजनीतिज्ञ हैं
सियासत | 6-मिनट में पढ़ें
9 साल, 9 फैसले, वे जो मोदी को बनाते हैं 'मोदी'
हाल ही में हमारी सांस्कृतिक धरोहरों और हमारी आध्यात्मिक पहचान को समेटे हुए स्थापित हुई नई संसद ने ये एहसास और पुख्ता किया है. नई संसद में पूरे विधि विधान से राजदंड सेंगोल की स्थापना ने ये एहसास भी करा दिया है कि राजधर्म के पालन में मोदी पीछे हटने वाले नहीं, फिर चाहे कितनी भी चुनौतियां सामने क्यों न आएं.सियासत | 5-मिनट में पढ़ें
Dalit-Muslim केमेस्ट्री की एक दर्दनाक कहानी हैं जोगेंद्रनाथ मंडल
जोगेंद्रनाथ मंडल (Jogendra Nath Mandal) की दर्दनाक सच्चाई को देश की हुकूमत पर काबिज रहे राजनीतिक दलों और दलितों के नाम पर सिलेक्टिव सियासत करने वाले लोगों ने हमेशा छुपाया. क्योंकि जोगेंद्रनाथ मंडल के साथ हुई ज्यादती की कहानी दलित-मुस्लिम एजेंडे (Dalit-Muslim agenda) पर मुफीद नहीं बैठती.सियासत | 6-मिनट में पढ़ें
UP Police Commissioner System: नौकरशाही का मिथक तोड़ने में लगे 41 साल
उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री Yogi Adityanath के प्रयासों से UP Police Commissioner System लागू हो गया है. माना जा रहा है कि इस सिस्टम से जहां एक तरह अपराधों में कमी आएगी तो वहीं दूसरी तरफ पुलिस को भी नए अधिकार मिलेंगे जिससे वो मजबूत होगी.सियासत | 6-मिनट में पढ़ें
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मॉब लिंचिंग: नया शिगूफा या असहिष्णुता का नया मुखौटा
उत्तर प्रदेश में मारपीट की घटनाओं को मजहबी रंग देने की पहले भी नाकाम कोशिश की गई है. राम के नाम पर माहौल खराब करने की कोशिश कई बार की गई. सवाल ये उठता है कि आखिर इस तरह की घटनाओं का मकसद क्या है. और मीडिया का एक समूह इन घटनाओं को लेकर ज्यादा उत्साहित क्यों रहता है.सियासत | 5-मिनट में पढ़ें
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