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Updated: 30 जुलाई, 2021 09:49 PM
देवेश त्रिपाठी
देवेश त्रिपाठी
  @devesh.r.tripathi
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कोरोना संक्रमण से ठीक होने के बाद लोगों में कई तरह की स्वास्थ्य समस्याएं सामने आ रही हैं. पोस्ट कोविड सिंड्रोम से जूझ रहे लोगों में अब एक नई समस्या सामने आ गई है. कहा जा रहा है कि कोरोना वायरस से उबर चुके लोगों के बाल तेजी से झड़ रहे हैं. वैसे, बालों का झड़ना एक आम समस्या मानी जाती है. लेकिन, बीते कुछ दिनों में बाल झड़ने की समस्या के मामलों में काफी तेजी आई है. जिसकी वजह से इसे कोरोना वायरस से जोड़ा जाने लगा है. कोरोना की पहली लहर के बाद भी बाल झड़ने के मामले सामने आए थे. लेकिन, इनकी संख्या ज्यादा नहीं थी. वहीं, कोरोना की दूसरी लहर के बाद अचानक से इन मामलों में उछाल दर्ज किया गया है. देश के कई अस्पतालों में बड़ी संख्या में लोग कोरोना से ठीक होने पर बाल झड़ने की समस्या लेकर पहुंच रहे हैं. इस स्थिति में सवाल उठना लाजिमी है कि क्या कोरोना की वजह से लोगों में बाल झड़ने की समस्या बढ़ गई है?

बाल झड़ने का कारण क्या है?

कई रिसर्च और स्टडी में ये बात साबित हो चुकी है कि लोगों की जीवनशैली का असर उनके बालों पर पड़ता है. खराब जीवनशैली की वजह से बाल झड़ने की समस्या लोगों में आजकल आम हो गई है. कोरोना महामारी के दौरान लोगों की जीवनशैली में बड़ा बदलाव आया है. खानपान को ठीक कर और जीवनशैली को पहले की तरह लाने पर बाल झड़ने की समस्या से बचा जा सकता है. डॉक्टरों का कहना है कि शारीरिक और मानसिक तनाव से दूर रहने पर ये समस्या कुछ समय बाद खुद ही ठीक हो जाती है. वहीं, कोविड 19 जैसी बीमारी भी इसके पीछे एक बड़ा कारण है.

लंबी बीमारी से ग्रस्त लोगों में बाल झड़ने की समस्या आम हो जाती है.लंबी बीमारी से ग्रस्त लोगों में बाल झड़ने की समस्या आम हो जाती है.

दरअसल, लंबी बीमारी से ग्रस्त लोगों में बाल झड़ने की समस्या आम हो जाती है. कोरोना संक्रमण से ठीक होने के बाद भी लोग लंबे समय तक इससे जुड़ी स्वास्थ्य समस्याओं से घिरे रहते हैं. जिसकी वजह से लोगों में बाल झड़ने के मामले तेजी से बढ़े हैं. वैसे, बाल झड़ने की समस्या अनुवांशिक भी हो सकती है. जिसे आप लाख कोशिशों के बाद भी नहीं रोक सकते हैं. बाल झड़ने की ये अनुवांशिक समस्या शरीर में हार्मोनल बदलाव के साथ ही शुरू होने की संभावना रहती है.

पोस्ट कोविड सिंड्रोम में क्यों बढ़ जाती है समस्या?

डॉक्टरों का कहना है कि कोरोना संक्रमण से ठीक होने के एक महीने से दो महीने के बीच में ये समस्या सामने आती है. एक आम व्यक्ति के रोजाना लगभग 100 बाल टूटकर गिरते हैं. लेकिन, पोस्ट कोविड सिंड्रोम में डिप्रेशन, तनाव, खानपान बिगड़ने से पोषण में कमी, विटामिन D और B12 का स्तर कम होने से ये समस्या आम तौर पर बढ़ जाती है. इस समस्या को टेलोजेन एफ्लूवियम (Telogen Effluvium) कहा जाता है. इसकी वजह से लोगों के बाल झड़ने की गति रोजाना 100 के मुकाबले 300-400 तक पहुंच जाती है. डॉक्टरों का कहना है कि तनाव या अन्य किसी भी कारण से बालों के ग्रोथ में रुकावट आने से हेयर फॉल की समस्या बढ़ जाती है.

कैसे रोकें बालों का झड़ना?

डॉक्टरों का कहना है कि बालों का झड़ना कोई गंभीर समस्या नहीं है. इसे घर पर रहते हुए ही आसानी से दूर किया जा सकता है. इसे रोकने के लिए लोगों को अपने खानपान पर ध्यान देना होगा. साथ ही शारीरिक और मानसिक तनाव से जितना दूर रहेंगे, उतना तेजी से असर होगा. कोरोना संक्रमण से उबर चुके जिन लोगों में ये समस्या सामने आ रही है, उन्हें अपने खानपान में विटामिन, प्रोटीन और आयरन से भरपूर चीजों को शामिल करना चाहिए. एक संतुलित आहार के तौर पर इन सभी का सेवन बाल झड़ने की समस्या को काफी हद तक कम कर सकता है. डॉक्टरों का कहना है कि इसे ठीक होने में 5-6 हफ्ते लगते हैं. लेकिन, इसके बाद भी समस्या रहती है, तो किसी विशेषज्ञ डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए.

लेखक

देवेश त्रिपाठी देवेश त्रिपाठी @devesh.r.tripathi

लेखक इंडिया टुडे डिजिटल में पत्रकार हैं. राजनीतिक और समसामयिक मुद्दों पर लिखने का शौक है.

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