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अज़ान पर सोनू के बयान से चार कदम आगे ही हैं ये 800 कमेंट्स

    • आईचौक
    • Updated: 18 अप्रिल, 2017 07:14 PM
  • 18 अप्रिल, 2017 07:14 PM
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iChowk.in ने सोनू निगम के इस बयान पर एक सीधा-साधा सवाल पूछा था. इस डिबेट में आईचौक के रीडर्स ने हिस्सा लिया और 24 घंटे में करीब 800 कमेंट्स के जरिए अपनी राय बताई.

सोनू निगम के मस्जिद और लाउडस्पीकर पर दिए बयान को अब काफी वक्त हो चुका है. लेकिन लोगों का गुस्सा अभी शांत होता नहीं दिख रहा. iChowk.in ने सोनू निगम के इस बयान पर एक सीधा-साधा सवाल पूछा था. इस डिबेट में आईचौक के रीडर्स ने हिस्सा लिया और 24 घंटे में करीब 800 कमेंट्स के जरिए अपनी राय बताई.

सोनू निगम की ट्वीट पर हमने आपसे पूछा था ये सवाल

 

इस चर्चा का हिस्सा बने पाठकों में से कुछ सोनू के साथ थे तो कुछ उनके खिलाफ. अधिकतर पाठकों ने इस मामले में अपना स्टैंड रखा और इनमें से ज्यादातर लोगों ने इस बात पर ज़ोर दिया कि इस तरह किसी एक धर्म को कठघरे में खड़ा करना सही नहीं है.

कुछ लोगों ने सोनू के खिलाफ मुहिम ही छेड़ दी. कट्टर सोच रखने वाले कुछ पाठक सोनू के साथ खड़े हुए तो कुछ ने उन्हें कोसा.

एक फेसबुक यूजर Shaikh anwar ने लिखा..

मैं हैदराबाद में जहां रहता हूं वहां पास में एक मंदिर और मस्जिद हैं जिनकी दीवार साथ में लगी हुई है. जब अज़ान होती है तो पंडित जी आर्ती रोक देते हैं और जब आर्ती होती है तो मस्जिद में बयान को रोक दिया जाता है. पंडित और मुल्ला दोनों मिलजुलकर रहते हैं.

एक दूसरे यूजर Rajeev Kapoor ने लिखा ....

Disagree ग़लत सवाल है आवाज जो किसी भी धर्म से हों, कानों में रस ही...

सोनू निगम के मस्जिद और लाउडस्पीकर पर दिए बयान को अब काफी वक्त हो चुका है. लेकिन लोगों का गुस्सा अभी शांत होता नहीं दिख रहा. iChowk.in ने सोनू निगम के इस बयान पर एक सीधा-साधा सवाल पूछा था. इस डिबेट में आईचौक के रीडर्स ने हिस्सा लिया और 24 घंटे में करीब 800 कमेंट्स के जरिए अपनी राय बताई.

सोनू निगम की ट्वीट पर हमने आपसे पूछा था ये सवाल

 

इस चर्चा का हिस्सा बने पाठकों में से कुछ सोनू के साथ थे तो कुछ उनके खिलाफ. अधिकतर पाठकों ने इस मामले में अपना स्टैंड रखा और इनमें से ज्यादातर लोगों ने इस बात पर ज़ोर दिया कि इस तरह किसी एक धर्म को कठघरे में खड़ा करना सही नहीं है.

कुछ लोगों ने सोनू के खिलाफ मुहिम ही छेड़ दी. कट्टर सोच रखने वाले कुछ पाठक सोनू के साथ खड़े हुए तो कुछ ने उन्हें कोसा.

एक फेसबुक यूजर Shaikh anwar ने लिखा..

मैं हैदराबाद में जहां रहता हूं वहां पास में एक मंदिर और मस्जिद हैं जिनकी दीवार साथ में लगी हुई है. जब अज़ान होती है तो पंडित जी आर्ती रोक देते हैं और जब आर्ती होती है तो मस्जिद में बयान को रोक दिया जाता है. पंडित और मुल्ला दोनों मिलजुलकर रहते हैं.

एक दूसरे यूजर Rajeev Kapoor ने लिखा ....

Disagree ग़लत सवाल है आवाज जो किसी भी धर्म से हों, कानों में रस ही घोलती है इस तरह की बातों से उन्माद फैलता है, क्या हिन्दू क्या मुस्लमान हम सब हैं भाई-भाई, प्यार बांटते चलो.

कुछ लोगों ने तो सोनू के गानों पर अपनी भड़ास निकाली. ये कुछ-कुछ स्नैपचैट वाले किस्से की तरह हो गया. अब भारत में बैन की लिस्ट में एक और चीज शामिल हो जाएगी.

ऐसे दिए पाठकों ने जवाब कुछ का गुस्सा सोनू पर निकला तो कुछ ने अपनी आप-बीती सुनाई

 

सोनू निगम की बेरोजगारी को लेकर भी लोगों ने सवाल उठाया. तो क्या वाकई सोनू ने ये सब पब्लिसिटी के लिए किया था?

 

चाहें हिंदू हों या मुस्लिम पाठकों ने एक दूसरे से शांती बनाय रखने की अपील भी की.

लोगों ने अपनी आपबीती भी बताई कि इस मामले में उन्होंने क्या भोगा है और क्या बंद होना चाहिए.

कई लोग सोनू के साथ भी रहे और कई उनके खिलाफ भी, लेकिन जो भी हो अपने विचार सभी ने रखे.

जहां सोनू निगम की एक ट्वीट ने इतने बड़े विवाद को दावत दे दी वहीं एक बार ये भी सोचना चाहिए कि हर बात को क्या सिर्फ एक धर्म से जोड़कर देखना सही है? लाउडस्पीकर का इस्तेमाल सिर्फ एक ही धर्म में नहीं होता और हमारे इस सवाल का जवाब भी लोगों ने इसी तरह से दिया है.

800 कमेंट्स में लोगों ने ये कहा कि हिंदुओं को त्योहारों में भी इस तरह ही आवाजें आती हैं. गणपति और दुर्गाउत्सव के दौरान भी लाउडस्पीकर का इस्तेमाल होता है. जगरातों में भी यही होता है. अधिकतर लोगों को समस्या लाउडस्पीकर से होती है पूजा या अज़ान से नहीं.

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इस लेख में लेखक ने अपने निजी विचार व्यक्त किए हैं. ये जरूरी नहीं कि आईचौक.इन या इंडिया टुडे ग्रुप उनसे सहमत हो. इस लेख से जुड़े सभी दावे या आपत्ति के लिए सिर्फ लेखक ही जिम्मेदार है.

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