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पाकिस्तान में रीना-रवीना के साथ अंजली की कहानी दोहरा दी गई है

    • श्रुति दीक्षित
    • Updated: 26 मार्च, 2019 03:24 PM
  • 26 मार्च, 2019 03:22 PM
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पाकिस्तान में दो हिंदू बहनें रीना-रवीना को जबरन मुसलमान बनाकर उनका निकाह करवा दिए जाने का मामला जब अदालत में पहुंचा तो वहां उनके साथ फिर अन्‍याय हो गया. ऐसे मामलों में न्‍याय के नाम पर होने वाले छलावे का अंजली कुमारी की कहानी से भी समझा जा सकता है.

पाकिस्तान की रीना और रवीना की कहानी अभी भी वहीं की वहीं हैं. होली पर अगवा की गईं इन दोनों हिंदू लड़कियों का जबरन धर्म परिवर्तन करवाकर निकाह करवाया दिया गया था. इस मामले में पूरी दुनिया में हंगामा मचने के बाद पाकिस्तानी कोर्ट ने जो न्‍याय किया है, वह किसी क्रूर मजाक से कम नहीं है. कोर्ट ने इन दोनों लड़कियों को दारुल-अमान के हवाले कर दिया है.

पाकिस्तान की न्याय प्रणाली पर कितना भरोसा किया जाए ये तो इस जैसे अन्य मामलों के बारे में जानकर ही पता चल जाएगा. दारुल-अमान में जाने के बाद रीना और रवीना के साथ क्‍या हो सकता है, ये कुछ वर्ष पहले अगवा की गई अंजली कुमारी की कहानी से समझा जा सकता है.

अपहरण, धर्म-परिवर्तन, निकाह और फिर कोर्ट का एक फैसला...

ये कहानी है अंजली कुमारी मेघवार की. पाकिस्तानी हिंदू जिसे डहारकी (Daharki Pakistan) इलाके से दिन दहाड़े उठवा लिया गया था. अंजली अपने घर के पास ही थी. अंजली को उठवा कर उसका धर्म परिवर्तन करवाया गया और उसका निकाह भी हुआ. उसे सलमा नाम दिया गया. जब इस मामले ने तूल पकड़ा तो पाकिस्तान में मुकदमा चलाया गया. लड़की के पिता ने कहा कि लड़की नाबालिग है और इसलिए उसका स्टेटमेंट नहीं लिया जाना चाहिए.

फिर भी लड़की का स्टेटमेंट लिया गया और मेडिकल रिपोर्ट में उस लड़की को 16 साल का बता दिया गया. अंजली ने दबाव में आकर अपने पति के साथ रहने की बात कही, लेकिन तब तक इस मामले ने इतना तूल पकड़ लिया था कि अंजली को दार-उल-अमान (Pannah Shelter Home) भेज दिया गया जो पाकिस्तानी महिला सुधार गृह है. जब लड़की बालिग हुई तो उसे आदमी के हवाले कर दिया गया, जिससे उसका जबरदस्ती निकाह हुआ था.

कोर्ट के फैसले के बाद अंजली, जो जबरन सलमा बना दी गई.

अंजली को जब शेल्टर होम भेजा गया था तब...

पाकिस्तान की रीना और रवीना की कहानी अभी भी वहीं की वहीं हैं. होली पर अगवा की गईं इन दोनों हिंदू लड़कियों का जबरन धर्म परिवर्तन करवाकर निकाह करवाया दिया गया था. इस मामले में पूरी दुनिया में हंगामा मचने के बाद पाकिस्तानी कोर्ट ने जो न्‍याय किया है, वह किसी क्रूर मजाक से कम नहीं है. कोर्ट ने इन दोनों लड़कियों को दारुल-अमान के हवाले कर दिया है.

पाकिस्तान की न्याय प्रणाली पर कितना भरोसा किया जाए ये तो इस जैसे अन्य मामलों के बारे में जानकर ही पता चल जाएगा. दारुल-अमान में जाने के बाद रीना और रवीना के साथ क्‍या हो सकता है, ये कुछ वर्ष पहले अगवा की गई अंजली कुमारी की कहानी से समझा जा सकता है.

अपहरण, धर्म-परिवर्तन, निकाह और फिर कोर्ट का एक फैसला...

ये कहानी है अंजली कुमारी मेघवार की. पाकिस्तानी हिंदू जिसे डहारकी (Daharki Pakistan) इलाके से दिन दहाड़े उठवा लिया गया था. अंजली अपने घर के पास ही थी. अंजली को उठवा कर उसका धर्म परिवर्तन करवाया गया और उसका निकाह भी हुआ. उसे सलमा नाम दिया गया. जब इस मामले ने तूल पकड़ा तो पाकिस्तान में मुकदमा चलाया गया. लड़की के पिता ने कहा कि लड़की नाबालिग है और इसलिए उसका स्टेटमेंट नहीं लिया जाना चाहिए.

फिर भी लड़की का स्टेटमेंट लिया गया और मेडिकल रिपोर्ट में उस लड़की को 16 साल का बता दिया गया. अंजली ने दबाव में आकर अपने पति के साथ रहने की बात कही, लेकिन तब तक इस मामले ने इतना तूल पकड़ लिया था कि अंजली को दार-उल-अमान (Pannah Shelter Home) भेज दिया गया जो पाकिस्तानी महिला सुधार गृह है. जब लड़की बालिग हुई तो उसे आदमी के हवाले कर दिया गया, जिससे उसका जबरदस्ती निकाह हुआ था.

कोर्ट के फैसले के बाद अंजली, जो जबरन सलमा बना दी गई.

अंजली को जब शेल्टर होम भेजा गया था तब कोर्ट ने ये कहा था कि उसके माता-पिता को उससे मिलने दिया जाएगा पर ऐसा नहीं हुआ. अंजली ने आखिर थक हारकर कोर्ट में ये कह दिया कि वो अपनी मर्जी से गई थी और उसने निकाह और धर्म परिवर्तन भी अपनी मर्जी से ही किया है.

ये है पाकिस्तान में हिंदू लड़कियों पर हो रहे अत्याचार और उसके बाद न्याय के नाम पर किए गए फर्जी केस की कहानी. रीना और रवीना के मामले में भी इसी तरह की फर्जी दलीलें दी गई हैं.

असली अपराधी है मिट्ठू मियां

पर इस मामले में सबसे अहम किरदार की बात अभी बाकी है. ये हैं मिट्ठू मियां. नाम पर मत जाएं ये कोई आम इंसान नहीं बल्कि पाकिस्तान के काफी नामी मौलवियों में से एक हैं जो घोटकी में भारचुंडी दरगाह में रहते हैं. रीना और रवीना घोटकी से ही अगवा हुई थीं. पाकिस्तान में इस इलाके और इसके आस-पास के इलाकों में से अगर कोई भी लड़की इस्लाम कबूल करती है तो वो इन्हीं के पास कैसे पहुंच जाती है ये नहीं पता. मिया मिट्ठू का वास्तविक नाम पीर अब्दुल हक आका है. और ये पाकिस्तान में अल्पसंख्यकों के मामले में बहुत बदनाम हैं. कारण? हर अगवा हुई लड़की (इनके हिसाब से खुद ही आती हैं.) इन्हीं के पास आकर धर्म परिवर्तन करवाती हैं.

ये अभी से नहीं कई सालों से है. इनके खिलाफ को कई बार विरोध प्रदर्शन हो चुका है.

2016 में लाहौर के फैजल स्क्वेयर पर मियां मिट्ठू के खिलाफ होता विरोध प्रदर्शन

अगर आपको लगता है कि इतने सालों से चल रहे मामलों के बाद शायद पाकिस्तानी हिंदुओं की बात सुनी गई होगी तो ऐसा नहीं है.

मिट्ठू मियां कितने ताकतवर हैं इसका अंदाजा इन ट्वीट से लगाया जा सकता है.

जी हां, पाकिस्तान में हिंदुओं का धर्म परिवर्तन करवाने और मासूम लड़कियों को जबरन निकाह के चंगुल में फंसाने का श्रेय मिट्ठू मियां को ही जाता है. और यही मियां मिट्ठू पाकिस्तान के प्रधानमंत्री की पार्टी से जुड़ते हैं. एक फोटो ऐसी भी है इंटरनेट पर जहां इमरान खान पाकिस्तान के इस दबंग राइट विंग नेता के साथ दावत का मज़ा ले रहे हैं.

अगर आपको लगता है कि मियां मिट्ठू की सिर्फ राजनीति तक ही पहुंच है तो ये गलत है. मियां मिट्ठू की पहुंच पाकिस्तान में सर्वोपरि‍ मानी जाने वाली पाकिस्तानी सेना तक भी है.

ये तो हाल है उस आरोपी का जिसके खिलाफ न जाने कितने अत्याचार के केस चल रहे हैं वो इस तरह से घूम रहा है तो फिर आप क्या उम्मीद कर सकते हैं कि कितना न्याय मिलेगा.

जिस नए पाकिस्तान का दावा किया जा रहा है वहां के मंत्रियों को उनके यहां के अल्पसंख्यकों से ज्यादा पूरी दुनिया के अल्पसंख्यकों की चिंता है. तभी तो चौधरी फवाद हुसैन जो इमरान खान की कैबिनेट का हिस्सा हैं वो कल सुषमा स्वराज से ट्विटर पर इस मामले में बहस कर रहे थे. इसी मामले में सोशलिस्ट तहसीन पूनावाला ने फवाद हुसैन को उनके ही पाकिस्तान की असलियत दिखाने के लिए कुछ सवाल पूछे हैं.

पाकिस्तान में हिंदुओं के धर्म परिवर्तन के मामले ने तूल तो पकड़ा है, लेकिन इस बात की उम्‍मीद कम है कि इस कट्टर इस्‍लामी मुल्‍क में कोई सुनवाई होगी. पाकिस्तानी हिंदुओं की जो स्थिति है वो एक गूगल सर्च में सामने आ जाएगी. न जाने कितनी कहानियां हैं रीना और रवीना जैसी जो बहस का हिस्सा नहीं बन पाती हैं. एक रिपोर्ट कहती है कि पाकिस्तान में हर साल 1000 लड़कियों का अपहरण कर ऐसे ही धर्म परिवर्तन करवाया जाता है. रीना और रवीना के साथ क्या होगा? प्रार्थना ही की जा सकती है.

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इस लेख में लेखक ने अपने निजी विचार व्यक्त किए हैं. ये जरूरी नहीं कि आईचौक.इन या इंडिया टुडे ग्रुप उनसे सहमत हो. इस लेख से जुड़े सभी दावे या आपत्ति के लिए सिर्फ लेखक ही जिम्मेदार है.

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