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Janata curfew के दौरान ये 10 उपाय बड़े काम के हो सकते हैं

    • मृगांक शेखर
    • Updated: 21 मार्च, 2020 09:00 PM
  • 21 मार्च, 2020 09:00 PM
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कोरोना से बचाव (Corona Fight) के लिए एहतियाती उपाय हर कोई अपना रहा है और जनता कर्फ्यू (Janta Curfew) भी इसी का एक ठोस तरीका है जिसकी अपील प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) ने की है - थोड़ा ध्यान दिया जाये तो मौके को और भी खास बनाया जा सकता है.

22 मार्च को जनता कर्फ्यू है - और ये सुबह 7 बजे से रात के 9 बजे तक लागू रहेगा. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) की जनता कर्फ्यू (Janta Curfew) की अपील को लेकर सोशल मीडिया पर लोग अपने अपने तरीके से इस पर रिएक्ट कर रहे हैं. रिक्शन ज्यादातर पक्ष में हैं और थोड़े-बहुत विरोध में भी. सर गंगा राम अस्पताल के डॉक्टर अरविंद कुमार ने इसे एक बेहतरीन कदम बताया है और उनकी राय में इसे सिर्फ एक दिन नहीं बल्कि कम से कम दो हफ्ते के लिए लागू करना चाहिये. इंडियन एक्सप्रेस से बातचीत में डॉक्टर अरविंद कुमार ने जनता कर्फ्यू बढ़ाने के पीछे तर्क भी दिये हैं.

प्रधानमंत्री मोदी ने खुद ही जनता कर्फ्यू का मतलब भी समझाया था - 'जनता कर्फ्यू का मतलब है जनता के लिए, जनता द्वारा खुद पर लगाया गया कर्फ्यू. 22 मार्च को हमारा ये प्रयास, हमारे आत्म-संयम, देशहित में कर्तव्य पालन के संकल्प का एक प्रतीक होगा. 22 मार्च को जनता-कर्फ्यू की सफलता, इसके अनुभव, हमें आने वाली चुनौतियों के लिए भी तैयार करेंगे.' सबको मालूम है कि ये जनता कर्फ्यू कोरोना वायरस (Corona Fight) की वजह से आयी मुश्किलों से एकजुट होकर मुकाबला करने के उपायों का हिस्सा है.

जनता कर्फ्यू के दौरान ट्रेन भी नहीं चलेगी, लेकिन ऐसा भी नहीं कि जो रास्ते में होगी उसे वहीं रोक दिया जाएगा. कुछ फ्लाइट और दिल्ली मेट्रो भी नहीं चलेगी - अति आवश्यक सेवाओं के अलावा बाकी आप सब पर निर्भर करता है कि आप कैसे इसका हिस्सा बनते हैं - हमारी ओर से कुछ ऐसे सुझाव पेश हैं जिसे अपना कर इस बड़े मौके को खास और यादगार भी बना सकते हैं.

1. जितना संभव हो, पानी बचायें

जनता कर्फ्यू के साथ एक बड़ा संयोग है कि 22 मार्च को ही विश्व जल दिवस है - World Water Day. ये बहुत बड़ा मौका है. जनता कर्फ्यू को राष्ट्र के प्रति योगदान से जोड़ा गया है - और जल दिवस के मौके पर पानी बचा कर आप इसमें डबल योगदान दे सकते हैं. इसका ये कतई मतलब नहीं कि पानी पीना भी छोड़ दें. कोरोना से बचाव में भरपूर मात्रा में पानी पीना भी बहुत ही...

22 मार्च को जनता कर्फ्यू है - और ये सुबह 7 बजे से रात के 9 बजे तक लागू रहेगा. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) की जनता कर्फ्यू (Janta Curfew) की अपील को लेकर सोशल मीडिया पर लोग अपने अपने तरीके से इस पर रिएक्ट कर रहे हैं. रिक्शन ज्यादातर पक्ष में हैं और थोड़े-बहुत विरोध में भी. सर गंगा राम अस्पताल के डॉक्टर अरविंद कुमार ने इसे एक बेहतरीन कदम बताया है और उनकी राय में इसे सिर्फ एक दिन नहीं बल्कि कम से कम दो हफ्ते के लिए लागू करना चाहिये. इंडियन एक्सप्रेस से बातचीत में डॉक्टर अरविंद कुमार ने जनता कर्फ्यू बढ़ाने के पीछे तर्क भी दिये हैं.

प्रधानमंत्री मोदी ने खुद ही जनता कर्फ्यू का मतलब भी समझाया था - 'जनता कर्फ्यू का मतलब है जनता के लिए, जनता द्वारा खुद पर लगाया गया कर्फ्यू. 22 मार्च को हमारा ये प्रयास, हमारे आत्म-संयम, देशहित में कर्तव्य पालन के संकल्प का एक प्रतीक होगा. 22 मार्च को जनता-कर्फ्यू की सफलता, इसके अनुभव, हमें आने वाली चुनौतियों के लिए भी तैयार करेंगे.' सबको मालूम है कि ये जनता कर्फ्यू कोरोना वायरस (Corona Fight) की वजह से आयी मुश्किलों से एकजुट होकर मुकाबला करने के उपायों का हिस्सा है.

जनता कर्फ्यू के दौरान ट्रेन भी नहीं चलेगी, लेकिन ऐसा भी नहीं कि जो रास्ते में होगी उसे वहीं रोक दिया जाएगा. कुछ फ्लाइट और दिल्ली मेट्रो भी नहीं चलेगी - अति आवश्यक सेवाओं के अलावा बाकी आप सब पर निर्भर करता है कि आप कैसे इसका हिस्सा बनते हैं - हमारी ओर से कुछ ऐसे सुझाव पेश हैं जिसे अपना कर इस बड़े मौके को खास और यादगार भी बना सकते हैं.

1. जितना संभव हो, पानी बचायें

जनता कर्फ्यू के साथ एक बड़ा संयोग है कि 22 मार्च को ही विश्व जल दिवस है - World Water Day. ये बहुत बड़ा मौका है. जनता कर्फ्यू को राष्ट्र के प्रति योगदान से जोड़ा गया है - और जल दिवस के मौके पर पानी बचा कर आप इसमें डबल योगदान दे सकते हैं. इसका ये कतई मतलब नहीं कि पानी पीना भी छोड़ दें. कोरोना से बचाव में भरपूर मात्रा में पानी पीना भी बहुत ही जरूरी है. इतना तो किया ही जा सकता है कि जरूरत भर ही पानी खर्च किया जाये. आपकी बचत का एक एक बूंद किसी की प्यास बुझा सकता है - देखिये ये वीडियो.

प्रधानमंत्री मोदी की ही सरकार ने 2019 में जल जीवन मिशन शुरू किया था. इस योजना का लक्ष्य 2024 तक हर घर को साफ पानी उपलब्ध कराना है. आज भी हालत ये है कि गांवों में रहने वाले 3 करोड़ से ज्यादा लोग पानी के लिए मोहताज हैं.

2. एक दिन उर्जा भी बचायें

जल दिवस के ठीक एक महीने बाद वर्ल्ड अर्थ डे है. हर साल तो आप इसमें कंट्रीब्यूट तो करते ही हैं, जनता कर्फ्यू के दौरान भी आप चाहें तो ऊर्जा बचा सकते हैं. इसके लिए भी कोई मिनिमम और मैक्सिमम का स्केल नहीं है. जितना बन पड़े ऊर्जा बचाइए और धरती के साथ साथ पूरे वायुमंडल को संदेश दीजिये कि आपको उनका कितना ख्याल है.

और ये बड़ा आसान है. उतना ही आसान जितना पानी का नल इस्तेमाल के बाद बंद कर देना. बचाने के तमाम उपाय हो सकते हैं - घर में फैन, एसी, मिक्सी, माइक्रोवेव और इंडक्शन जैसी चीजों का एक दिन तभी इस्तेमाल करें जब बहुत जरूरी हो.

3. संडे है फास्ट (उपवास) रख सकते हैं

रविवार को बहुत सारे लोग सूर्य व्रत रखते हैं. असल में शास्त्रों में रविवार को सूर्य का दिन बताया गया है. वैसे तो रविवार को फास्ट रखने वाले नमक छोड़ देते हैं लेकिन ये फैसला आपका होना चाहिये - आप क्या तय करते हैं? अगर आप कभी फास्ट नहीं रखते तो भी कोई बात नहीं, चाहें तो एक दिन सिर्फ लिक्विड या जूस या नारियल पानी या कुछ और ले सकते हैं. आप में से बहुत लोगों को आने वाले नवरात्र का भी इंतजार होगा - थोड़ा पहले ही सही. एक दिन की बात है. वैसे जैसी आपकी मर्जी.

सूर्य को लेकर स्वास्थ्य मंत्री अश्विनी चौबे की सलाह तो आपने सुनी ही होगी - धूप सेंक कर भी कोरोना को भगाया जा सकता है.

बाकी बातें अपनी जगह है. धूप से और कुछ मिले न मिले विटामिन डी का लाभ तो मिलेगा ही. ये भी कम है क्या.

4. Tech fast भी रख सकते हैं

अगर आपको भूखे रह कर फास्ट रखना न पसंद हो तो उपायों की कमी थोड़े ही है - एक दिन चाहें तो टेक-फास्ट (tech-fast) भी रख सकते हैं. हर रोज आप कई तरह के गैजेट्स इस्तेमाल करते हैं - एक दिन फास्ट रख कर देखें. बड़ा सुकून मिलेगा.

हाल ही में प्रधानमंत्री मोदी ने भी ऐसा ही एक उपाय सुझाया था - किसी एक कमरे को ऐसा बनायें जिसमें टेक्नॉलॉजी का कोई इस्तेमाल न हो. अच्छा अनुभव हो सकता है. प्रधानमंत्री की ही अपील पर अगर जनता कर्फ्यू में भाग ले रहे हैं तो इसे भी आजमा सकते हैं.

5. कोई पौधा लगायें

चाहें तो इसके लिए पहले से तैयारी कर सकते हैं - आस-पास की नर्सरी जाकर कोई भी पौधा ले सकते हैं. अगर नहीं जाना हो तो भी कोई बात नहीं, कोई बीज रखा हो तो उसे भी लगा सकते हैं - और ऐसा कुछ भी नहीं तो भी तमाम उपाय हैं.

पर्यावरण दिवस जैसा ही मौका है जनता कर्फ्यू

घर में फल और सब्जियां तो होंगी ही. और कुछ नहीं तो टमाटर तो होगा ही. बस टमाटर के टुकड़े करें और किसी गमले में लगा दें. अगर आपके पास खुला स्पेस है और खाली जमीन है तो कहना ही क्या. ये भी जरूरी नहीं कि गमला नया ही हो. कोई पुराना गमला भी इस्तेमाल हो सकता है.

अगर ऐसा कुछ भी घर में नहीं है तो भी उपाय है. टमाटर, पपीता या जो भी बीज लगाना चाहते हैं. उसे पानी से धो लें - और किसी कॉटन के कपड़े या टिश्यू पेपर में लपेट कर रख दें. बस ये ख्याल रहे नमी बरकरार रहनी चाहिये. दो-तीन दिन बाद जब भी फुरसत मिले उसे गमले में लगा सकते हैं.

6. जितना हो सके मेडिटेशन करें

मेडिटेशन भी हो सकता है आप में से काफी लोग करते ही हों. अगर नहीं करते तो ये भी जरूरी नहीं कि बने बनाये तौर तरीकों से ही करें - इसे अपने हिसाब से भी कर सकते हैं. ऐसा कोई भी काम किया जा सकता है जिसे करते वक्त इंसान बाकी दुनिया को ही भूल जाये. अगर आपके पास ऐसा कोई पैशन है तो बिलकुल करें - आखिर ये ही तो होता है मेडिटेशन में.

कोई उपाय न सूझे तो कमरे में जाकर सो जायें - बॉडी की बैटरी फिर से रिचार्ज हो जाएगी और मेडिटेशन का एक छोटा सा कोर्स भी.

7. फुल-टाइम फेमिली टाइम

अरसा हो जाता है. पूरे परिवार को बैठ कर एक साथ वक्त गुजारे. काम के दौरान तो वक्त मिलने से रहा. छुट्टियों में भी कई काम निकल ही आते हैं. ये अच्छा मौका है - खूब बातें करें. जी भर के हंसी मजाक सब कुछ. फुल मस्ती.

अगर टेक-फास्ट रखे हैं तो पुराना अल्बम निकालें. सभी के साथ देखें. यादों को ताजा करें.

वर्चुअल वर्ल्ड को एक दिन के लिए दूर रखें. हो सके तो फोन करना भी टाल सकते हैं - अगर बहुत जरूरी न हो. अगर परिवार से दूर हैं तो एक दिन पहले ही बात कर लें और बोल दें कि जनता कर्फ्यू खत्म होने के बाद फिर बात करेंगे.

8. रिव्यू करें, To Do लिस्ट बनायें

कोरोना से लड़ाई में जनता कर्फ्यू के दौरान छूटे हुए काम याद करें और रिव्यू करें कि जो करना चाहते थे क्यों नहीं कर पाये. बीते वक्त में भारी व्यस्तता के कारण जो कुछ भी करना चाहते थे और उसके बारे में सोचने तक का मौका नहीं मिला हो तो - ये अच्छा मौका है समीक्षा करें.

और आगे के लिए चाहें तो उसी हिसाब से टास्क तैयार करें - और एक्शन प्लान के साथ एक टुडू लिस्ट भी बना सकते हैं. ऐसे आप जनता कर्फ्यू के मौके का फायदा उठा सकते हैं.

9. अपने शौक पूरा करें

हर किसी का कोई न कोई शौक होता है. मुश्किल ये है कि कामकाज की भाग दौड़ शौक पूरा करने का मौका ही नहीं मिलता. कभी मिलता भी है तो इत्मीनान नहीं मिलता. जो भी आपका शौक हो जनता कर्फ्यू के दौरान शिद्दत से पूरा कर सकते हैं.

अगर आपको खुद बनाकर खाने का शौक हो तो इससे बेहतरीन मौका मिलने वाला नहीं है - पूरा फायदा उठा सकते हैं.

10. कम से कम एक रिजॉल्युशन तैयार करें

अगर जनता कर्फ्यू को आप बड़ा मौका मानते हैं तो आप कोई एक रिजॉल्युशन भी तैयार कर सकते हैं. अगर आप नये साल पर. अपने जन्म दिन पर, या एनिवर्सरी पर कोई रिजॉल्युशन न ले पायें हों तो - ये दिन आपके लिए बेहतरीन मौका लेकर आया है.

ये सब कर पाना मुश्किल है, लेकिन कोई एक उपाय तो किया ही जा सकता है. एक बाद तो मान कर चलिये - ऐसा कर लेने के बाद जब आप शाम को ताली या थाली बजाने के लिए खिड़की के पास खड़े होंगे तो जश्न का जोश 10 गुणा हो चुका होगा! आपको अग्रिम बधाई.

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इस लेख में लेखक ने अपने निजी विचार व्यक्त किए हैं. ये जरूरी नहीं कि आईचौक.इन या इंडिया टुडे ग्रुप उनसे सहमत हो. इस लेख से जुड़े सभी दावे या आपत्ति के लिए सिर्फ लेखक ही जिम्मेदार है.

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