• होम
  • सियासत
  • समाज
  • स्पोर्ट्स
  • सिनेमा
  • सोशल मीडिया
  • इकोनॉमी
  • ह्यूमर
  • टेक्नोलॉजी
  • वीडियो
होम
सियासत

क्या हैदराबाद विश्वविद्यालय, जेएनयू और जाधवपुर की राह चला बीएचयू?

    • बिजय कुमार
    • Updated: 24 सितम्बर, 2017 05:45 PM
  • 24 सितम्बर, 2017 05:45 PM
offline
पिछले साल से कई विश्वविद्यालय परिसरों में छात्रों के विरोध प्रदर्शन की घटना देखने को मिली है. जिसको लेकर खूब राजनीति भी हुई है. कुछ ऐसा ही हाल फिलहाल बीएचयू का भी है.

बीएचयू के सिंहद्वार पर दो दिनों से छेड़खानी का विरोध कर रही छात्राओं का धरना-प्रदर्शन शनिवार को हिंसक हो गया. इसे देखते हुए प्रशासन ने विश्वविद्यालय और उसके आसपास अतिरिक्त पुलिस बल तैनात किये हैं. साथ ही कैंपस को 2 अक्टूबर तक के लिए बंद घोषित कर दिया गया है. खबरों की माने तो करीब दर्जन भर छात्राएं पुलिस के साथ झड़प में घायल हो गईं हैं. ऐसा तब हुआ जब छात्राओं ने वाइस चांसलर के आवास में घुसने की कोशिश और पुलिस ने उन्हें रोकना चाहा. इतने में दोनों पक्षों में हाथापाई हो गई. पुलिस ने काबू करने के लिए हवाई फायरिंग भी की. छात्राओं ने आरोप लगाया कि पुलिस ने उनपर हाथ भी उठाया.

विश्वविद्यालय के कुलपति ने इस विरोध प्रदर्शन को पीएम मोदी की बनारस यात्रा के समय किये जाने पर एक सोची समझी रणनीति बताया है. उन्होंने कहा है कि- 'कुछ अराजक तत्व और बाहरी लोग परिसर का माहौल ख़राब करने में लगे हुए हैं.'

बीएचयू की ये बालाएं सुरक्षा ही तो मांग रही हैं

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के निर्वाचन क्षेत्र वाराणसी में छात्राओं पर पुलिस द्वारा लाठी चार्ज किये जाने के मामले ने अब तूल पकड़ लिया है. और इसमें राजनीतिक दल भी कूद पड़े हैं. सोशल मीडिया पर इस मामले में कई राजनीतिज्ञ ट्वीट कर यूनिवर्सिटी के कुलपति के साथ-साथ राज्य की मौजूदा योगी सरकार और नरेंद्र मोदी को भी कठघरे में खड़ा कर रहे हैं.

बीएचयू के सिंहद्वार पर दो दिनों से छेड़खानी का विरोध कर रही छात्राओं का धरना-प्रदर्शन शनिवार को हिंसक हो गया. इसे देखते हुए प्रशासन ने विश्वविद्यालय और उसके आसपास अतिरिक्त पुलिस बल तैनात किये हैं. साथ ही कैंपस को 2 अक्टूबर तक के लिए बंद घोषित कर दिया गया है. खबरों की माने तो करीब दर्जन भर छात्राएं पुलिस के साथ झड़प में घायल हो गईं हैं. ऐसा तब हुआ जब छात्राओं ने वाइस चांसलर के आवास में घुसने की कोशिश और पुलिस ने उन्हें रोकना चाहा. इतने में दोनों पक्षों में हाथापाई हो गई. पुलिस ने काबू करने के लिए हवाई फायरिंग भी की. छात्राओं ने आरोप लगाया कि पुलिस ने उनपर हाथ भी उठाया.

विश्वविद्यालय के कुलपति ने इस विरोध प्रदर्शन को पीएम मोदी की बनारस यात्रा के समय किये जाने पर एक सोची समझी रणनीति बताया है. उन्होंने कहा है कि- 'कुछ अराजक तत्व और बाहरी लोग परिसर का माहौल ख़राब करने में लगे हुए हैं.'

बीएचयू की ये बालाएं सुरक्षा ही तो मांग रही हैं

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के निर्वाचन क्षेत्र वाराणसी में छात्राओं पर पुलिस द्वारा लाठी चार्ज किये जाने के मामले ने अब तूल पकड़ लिया है. और इसमें राजनीतिक दल भी कूद पड़े हैं. सोशल मीडिया पर इस मामले में कई राजनीतिज्ञ ट्वीट कर यूनिवर्सिटी के कुलपति के साथ-साथ राज्य की मौजूदा योगी सरकार और नरेंद्र मोदी को भी कठघरे में खड़ा कर रहे हैं.

पिछले साल से कई विश्वविद्यालय परिसरों में छात्रों के विरोध प्रदर्शन की घटना देखने को मिली है. जिसको लेकर खूब राजनीति भी हुई है. कुछ ऐसा ही हाल फिलहाल बीएचयू का भी है. बीएचयू में छात्रों का एक धड़ा ये भी कह रहा है कि हम विश्वविद्यालय को जेएनयू नहीं बनने देंगे.

ये भी पढ़ें-

मोदी की मौजूदगी में दुर्गा बनीं छात्राएं बता रही हैं रोमियो स्‍क्‍वाड की हकीकत

क्या 'इज्जतघर' बनवा लेने भर से बीएचयू की छात्राओं की इज्जत भी सुरक्षित हो जाएगी?

...क्योंकि बीएचयू नफरत की जगह नहीं है !


इस लेख में लेखक ने अपने निजी विचार व्यक्त किए हैं. ये जरूरी नहीं कि आईचौक.इन या इंडिया टुडे ग्रुप उनसे सहमत हो. इस लेख से जुड़े सभी दावे या आपत्ति के लिए सिर्फ लेखक ही जिम्मेदार है.

ये भी पढ़ें

Read more!

संबंधि‍त ख़बरें

  • offline
    अब चीन से मिलने वाली मदद से भी महरूम न हो जाए पाकिस्तान?
  • offline
    भारत की आर्थिक छलांग के लिए उत्तर प्रदेश महत्वपूर्ण क्यों है?
  • offline
    अखिलेश यादव के PDA में क्षत्रियों का क्या काम है?
  • offline
    मिशन 2023 में भाजपा का गढ़ ग्वालियर - चम्बल ही भाजपा के लिए बना मुसीबत!
Copyright © 2025 Living Media India Limited. For reprint rights: Syndications Today.

Read :

  • Facebook
  • Twitter

what is Ichowk :

  • About
  • Team
  • Contact
Copyright © 2025 Living Media India Limited. For reprint rights: Syndications Today.
▲