रियल दुनिया और सोशल मीडिया की दुनिया... तुलना यूं भी संभव नहीं है क्योंकि रियल दुनिया की परेशानियां अलग हैं. जबकि सोशल मीडिया की चुनौतियां भिन्न. रियल दुनिया में इक्का दुक्का ही चौधरी होते हैं. वहीं जैसे ही हम सोशल मीडिया का गमन करते हैं वहां इस बिरादरी की भरमार है. इनका एजेंडा बहुत सीधा है. ये कब आहत हो जाएं। कब कौन इनके निशाने पर आ जाए और ये उसे ट्रोल कर दें तमाम मौकों पर ये खुद इस बात को नहीं जानते। ये कभी किसी को मैगी में अमूल मक्खन की टिक्की डालने के चलते ट्रोल कर देते हैं. तो कभी कोई इनके निशाने पर सिर्फ इसलिए आ जाता है क्योंकि उसने इनकी पसंद का काम नहीं किया। लेकिन ऐसा नहीं है कि रियल से लेकर वर्चुअल तक जलवा सिर्फ इन्हीं लोगों का है. दुनिया में कुछ उर्फी जावेद और राखी सावंत टाइप लोग भी हैं. जिनको जब हम देखते हैं तो लगता है कि कोई इतना निश्चल और मोह माया से परे कैसे हो सकता है? सवाल होगा क्यों? तो जवाब के लिए हमें उर्फी की उस फोटो और राखी के उस वीडियो को देखना होगा जिसने इस वक़्त इंटरनेट पर खूब सुर्खियां बटोरीं हैं.
चाहे उर्फी जावेद हों या राखी सावंत दोनों ही अपने अंदाज के लिए इंटरनेट पर सुर्खियां बटोर रही हैं
चाहे उर्फी हों या राखी दोनों की महानता पर तब तक बात संभव नहीं है जब तक हम इंटरनेट पर वायरल इनकी तस्वीरों और वीडियो पर चर्चा न करें। तो ऐसे में पहले बात उर्फी की. अपने अतरंगे ड्रेसिंग सेन्स से सुर्खियां बटोरने वाली उर्फी ने इस बार रेजर ब्लेड से बनी ड्रेस पहनी हैं. उर्फी का ये अंदाज पुनः ट्रोल्स को खटक गया है और उन्हें जमकर ट्रोल किया जा रहा है. लेकिन मजेदार ये कि उर्फी ट्रोल्स को बिलकुल भी कान नहीं दे रही हैं.
मानिये या न मानिये जब भी हम ऐसे लोगों (राखी और उर्फी टाइप लोगों ) को देखते हैं. तो जो पहला थॉट हमारे दिमाग में जन्म लेता है. वो ये कि, ये लोग मोक्ष और निर्वाण के उस लेवल पर पहुंच गए हैं जहां इन्हें इससे मतलब ही नहीं है कि श्रीलंका में क्या हो रहा है. या फिर क्यों टीएमसी और कांग्रेस समेत विपक्ष के तमाम दल पीएम मोदी को अशोक की लाट में लगे शेर के कारण ट्रोल कर रहे हैं.
चाहे उर्फी हों या राखी सच में इन्हें इस बात से कोई मतलब नहीं है कि क्यों डॉलर के मुकाबले अपना भारतीय रुपया दयनीय स्थिति में है? क्यों पेट्रोल और डीजल के दाम आसमान छू रहे हैं? कैसे आज छोटी छोटी बातों के चलते हिंदू मुसलमानों के और मुसलमान हिंदुओं के दुश्मन बन बैठे हैं. उर्फी और राखी अपनी मर्जी से अपनी पसंद से जिंदगी जी रहे हैं.
कह सकते हैं कि राखी से लेकर उर्फी तक जब जब हमने इन विरले लोगों को देखा लगा ही नहीं कि रियल दुनिया में कुछ परेशानियां/ चुनौतियां हैं. ऐसा लगा सब बढ़िया चल रहा है. सब खुश हैं और अपनी अपनी लाइफ एन्जॉय कर रहे हैं.
ये भी पढ़ें -
Adidas-Nike जैसी कंपनियों के असली शुभचिंतक तो इनके नकली जूते बनाने वाले ही हैं!
लापरवाही से गाड़ी चलाने वालों को भाजपा नेता की कही ये बात सुनने से ज्यादा समझना जरूरी है!
The Great Khali याद रखें सोशल मीडिया के कमोड काल में सेल्फी ही टॉइलेट पेपर है!
इस लेख में लेखक ने अपने निजी विचार व्यक्त किए हैं. ये जरूरी नहीं कि आईचौक.इन या इंडिया टुडे ग्रुप उनसे सहमत हो. इस लेख से जुड़े सभी दावे या आपत्ति के लिए सिर्फ लेखक ही जिम्मेदार है.