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'धोनी रिटायर', सिर्फ घोषणा बाकी!

    • अनुज मौर्या
    • Updated: 29 अक्टूबर, 2019 07:04 PM
  • 29 अक्टूबर, 2019 07:04 PM
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सुबह-सुबह ट्विटर पर #DhoniRetires ट्रेंड करने लगा. लोग धोनी के रिकॉर्ड गिनाते हुए #NeverRetireDhoni और #ThankYouDhoni हैशटैग के साथ ट्वीट करने लगे. वैसे तो इसे अफवाह कहा जा रहा है, लेकिन गौर करेंगे तो हकीकत से पर्दा भी उठ जाएगा.

महेंद्र सिंह धोनी (Mahendra Singh Dhoni) के रिटायरमेंट को लेकर एक बार फिर से बहस शुरू हो गई है. सुबह-सुबह ट्विटर पर तो #DhoniRetires भी ट्रेंड करने लगा. कोई धोनी के विकेट कीपिंग के रिकॉर्ड गिनाने लगा, तो किसी ने उनकी बल्लेबाजी के कीर्तिमान साझा करने शुरू कर दिए. यहां तक कि जो फैन नहीं चाहते कि धोनी क्रिकेट से संन्यास (Dhoni Retirement) लें उन्होंने #NeverRetireDhoni और #ThankYouDhoni जैसे हैशटैग के साथ अपनी बात सोशल मीडिया पर शेयर करनी शुरू कर दी. यहां एक बात ध्यान देने की ये है कि विश्व कप 2019 में खराब प्रदर्शन के बाद और न्यूजीलैंड से हारने के बाद से ही इस बात की चर्चा होने लगी थी कि महेंद्र सिंह धोनी अब संन्यास ले सकते हैं. उस दिन के बाद से अब तक कई बार धोनी के रिटायरमेंट की चर्चा हो चुकी है, लेकिन धोनी ने अब तक संन्यास नहीं लिया. कम से कम आधिकारिक तौर पर इसकी घोषणा तो नहीं ही की. लेकिन अगर थोड़ा गौर करेंगे तो समझ आ जाएगा कि धोनी तो पहले ही संन्यास ले चुके हैं, या यूं भी कह सकते हैं कि उन्हें सन्यांस लेने पर मजबूर किया जा चुका है, अब बस देरी है तो धोनी की ओर से इस बात की घोषणा होने की.

सुबह-सुबह ट्विटर पर #DhoniRetires ट्रेंड करने लगा. वैसे तो इसे अफवाह कहा जा रहा है, लेकिन गौर करेंगे तो हकीकत से पर्दा भी उठ जाएगा.

प्रसाद का बयान भूल गए क्या?

भारतीय टीम के प्रमुख चयनकर्ता हैं एमएसके प्रसाद. कुछ समय पहले ही उन्होंने बयान दिया था कि हम अब आगे बढ़ रहे हैं. हम युवा खिलाड़ियों के मौके देते रहेंगे. धोनी के रिटायरमेंट (Dhoni Retirement) पर उन्होंने साफ कह दिया था कि ये धोनी का निजी फैसला होगा कि वह डोमेस्टिक क्रिकेट में खेल कर अपना प्रदर्शन सुधारते हैं या अपने रिटायरमेंट के बारे में सोचते हैं. यानी एक बात तो तय...

महेंद्र सिंह धोनी (Mahendra Singh Dhoni) के रिटायरमेंट को लेकर एक बार फिर से बहस शुरू हो गई है. सुबह-सुबह ट्विटर पर तो #DhoniRetires भी ट्रेंड करने लगा. कोई धोनी के विकेट कीपिंग के रिकॉर्ड गिनाने लगा, तो किसी ने उनकी बल्लेबाजी के कीर्तिमान साझा करने शुरू कर दिए. यहां तक कि जो फैन नहीं चाहते कि धोनी क्रिकेट से संन्यास (Dhoni Retirement) लें उन्होंने #NeverRetireDhoni और #ThankYouDhoni जैसे हैशटैग के साथ अपनी बात सोशल मीडिया पर शेयर करनी शुरू कर दी. यहां एक बात ध्यान देने की ये है कि विश्व कप 2019 में खराब प्रदर्शन के बाद और न्यूजीलैंड से हारने के बाद से ही इस बात की चर्चा होने लगी थी कि महेंद्र सिंह धोनी अब संन्यास ले सकते हैं. उस दिन के बाद से अब तक कई बार धोनी के रिटायरमेंट की चर्चा हो चुकी है, लेकिन धोनी ने अब तक संन्यास नहीं लिया. कम से कम आधिकारिक तौर पर इसकी घोषणा तो नहीं ही की. लेकिन अगर थोड़ा गौर करेंगे तो समझ आ जाएगा कि धोनी तो पहले ही संन्यास ले चुके हैं, या यूं भी कह सकते हैं कि उन्हें सन्यांस लेने पर मजबूर किया जा चुका है, अब बस देरी है तो धोनी की ओर से इस बात की घोषणा होने की.

सुबह-सुबह ट्विटर पर #DhoniRetires ट्रेंड करने लगा. वैसे तो इसे अफवाह कहा जा रहा है, लेकिन गौर करेंगे तो हकीकत से पर्दा भी उठ जाएगा.

प्रसाद का बयान भूल गए क्या?

भारतीय टीम के प्रमुख चयनकर्ता हैं एमएसके प्रसाद. कुछ समय पहले ही उन्होंने बयान दिया था कि हम अब आगे बढ़ रहे हैं. हम युवा खिलाड़ियों के मौके देते रहेंगे. धोनी के रिटायरमेंट (Dhoni Retirement) पर उन्होंने साफ कह दिया था कि ये धोनी का निजी फैसला होगा कि वह डोमेस्टिक क्रिकेट में खेल कर अपना प्रदर्शन सुधारते हैं या अपने रिटायरमेंट के बारे में सोचते हैं. यानी एक बात तो तय हो जाती है कि मौजूदा हालात में वह धोनी को टीम में नहीं देखना चाहते हैं. वैसे अगर आप थोड़ा ध्यान दें तो पता चलेगा कि विश्व कप के बाद अभी तक धोनी किसी भी मैच में दिखे नहीं हैं. अब ये उनका निजी फैसला है या टीम में उन्हें लिया ही नहीं गया, ये सस्पेंस शायद हमेशा बना रहे.

रवि शास्त्री ने भी तो सब साफ-साफ कह दिया है !

पहले एमएसके प्रसाद ने बयान दिया कि अब वह आगे बढ़ रहे हैं, जो धोनी के फैंस को अच्छा नहीं लगा. इसके बाद कोच रवि शास्त्री पिक्चर में आए और उन्होंने जो बयान दिया वो भी भड़काऊ ही था. रवि शास्त्री ने कहा कि महेंद्र सिंह धोनी ने रिटायर (Dhoni Retirement) होने का हक कमाया है. ये उनकी मर्जी है कि वह कब रिटायर होना चाहते हैं. उन्होंने तो यहां तक कह दिया कि धोनी के रिटायरमेंट की बातें करना उनका अपमान है और ऐसे में इस बहस को यहीं पर खत्म कर देना चाहिए. धोनी की तारीफों के पुल बांधते हुए शास्त्री ने कहा कि धोनी के रिटायरमेंट की बातें करने वालों में से आधे लोगों को तो जूते का फीता तक बांधना नहीं आता होगा. जरा धोनी के रिकॉर्ड्स को देखिए, उन्होंने देश के लिए कितना कुछ किया है. वह बोले कि लोगों के पास बात करने के लिए कुछ नहीं है, इसलिए धोनी के रिटायरमेंट के पीछे पड़े हुए हैं.

किसी मैच में नहीं लिया जा रहा धोनी को !

जरा गौर कीजिएगा, जो बात एमएसके प्रसाद ने सख्ती से कही, उसी बात को रवि शास्त्री मक्खन लगाकर कह रहे हैं. अब जरा पीछे चलते हैं. विश्व कप में न्यूजीलैंड से भारत के हारने के बाद क्या आपको धोनी कहीं खेलते हुए दिखे हैं? भारत के वेस्ट इंडीज दौरे की बात हो या फिर भारत में ही दक्षिण अफ्रीका के साथ भारत में ही हुए मैच की बात हो, किसी में भी विकेट के पीछे धोनी दिखे क्या? हां रांची में हो रहे तीसरे और फाइनल टेस्ट मैच के दौरान ड्रेसिंग रूम में जरूर धोनी को देखा गया. अभी आने वाले दिनों में भारत और बांग्लादेश के बीच 3 मैच की टी20 सीरीज होनी है, जिसके लिए भी धोनी को नहीं चुना गया है. वैसे ये भी स्पष्ट नहीं है कि उन्हें चुना ही नहीं गया, या वह चुनने के लिए मौजूद नहीं हैं, लेकिन आशंका यही है कि अब आलाकमान महेंद्र सिंह धोनी (Dhoni Retirement) को क्रिकेट टीम में देखना नहीं चाहते.

यानी एक ओर तो शास्त्री कह रहे हैं कि धोनी ने ये अधिकार कमा लिया है कि वह जब चाहें तब रिटायर (Dhoni Retirement) हों, वहीं दूसरी ओर उन्हें किसी भी मैच में खिलाया नहीं जा रहा है. अब ऐसी स्थिति में धोनी क्या करेंगे? ऊपर से प्रमुख चयनकर्ता खुलेतौर पर कह चुके हैं कि धोनी को अपना प्रदर्शन ठीक करने की जरूरत है. अब जरा सोचिए, इतने सालों तक भारतीय क्रिकेट टीम की कप्तानी करते हुए जीत के कीर्तिमान बनाने और यहां तक कि विश्व कप जिताने वाले धोनी को 38 की उम्र में रणजी खेलकर खुद को साबित करना पड़ेगा? देखिए, आखिरकार थक-हार कर उन्हें लेना तो संन्यास ही है. आज ले लें, या कल ले लें. क्योंकि चयनकर्ता और कोच ने तो अपने बयान से अपनी मंशा साफ कर दी है, अब बारी है धोनी की. अनौपचारिक तौर पर तो ये जाहिर कर ही दिया गया है, अब बस धोनी की ओर से औपचारिकता पूरी करते हुए क्रिकेट को अलविदा कहना बाकी है.

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इस लेख में लेखक ने अपने निजी विचार व्यक्त किए हैं. ये जरूरी नहीं कि आईचौक.इन या इंडिया टुडे ग्रुप उनसे सहमत हो. इस लेख से जुड़े सभी दावे या आपत्ति के लिए सिर्फ लेखक ही जिम्मेदार है.

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