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Brahmastra Public Review: जानिए जनता को कैसी लगी बॉलीवुड की 'ब्रह्मास्त्र'?

    • आईचौक
    • Updated: 11 सितम्बर, 2022 08:48 PM
  • 10 सितम्बर, 2022 09:42 PM
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Brahmastra Public Review in Hindi: बॉलीवुड की बहुप्रतीक्षित फिल्म 'ब्रह्मास्त्र' को रिलीज हुए एक दिन बीत चुके हैं. फिल्म ने ओपनिंग डे पर वर्ल्डवाइड 75 करोड़ रुपए का कलेक्शन करके रिकॉर्ड कायम कर दिया है. लेकिन इसके बावजूद सोशल मीडिया पर फिल्म को लेकर सकारात्मक और नकारात्मक दोनों तरह की प्रतिक्रिया मिल रही हैं.

बॉलीवुड बायकॉट मुहिम के बीच रिलीज हुई फिल्म 'ब्रह्मास्त्र' ने ओपनिंग डे पर बॉक्स ऑफिस कलेक्शन के मामले में कमाल कर दिया है. इस साल रिलीज हुई बॉलीवुड की तमाम बड़े बजट की डिजास्टर फिल्मों के बीच 'ब्रह्मास्त्र' ने पहले दिन वर्ल्डवाइड 75 करोड़ रुपए का कलेक्शन किया है. इसमें फिल्म ने इंडियन बॉक्स ऑफिस पर 36 करोड़ का कलेक्शन किया है, जिसमें हिंदी वर्जन से 32 करोड़ रुपए, तेलुगू से 3.7 करोड़ रुपए, कन्नड से 1 लाख रुपए, तमिल से 7 लाख रुपए और मलयालम से 1 लाख रुपए का कलेक्शन किया है. बाकी पैसे ओवरसीज कलेक्शन से मिले हैं. यह पहली बार हुआ कि किसी बॉलीवुड फिल्म ने साउथ बॉक्स ऑफिस पर अपना खाता खोला है. वरना इससे पहले रिलीज अधिकांश फिल्मों का साउथ कलेक्शन जीरो होता रहा है. कमाई के लिहाज से देखें तो 'ब्रह्मास्त्र' कोरोना काल के बाद बॉक्स ऑफिस पर पहले दिन सबसे ज्यादा कमाई करने वाली हिंदी फिल्म बन गई है.

450 करोड़ रुपए बजट में बनी फिल्म 'ब्रह्मास्त्र' का निर्देशन अयान मुखर्जी ने किया है. इसमें रणबीर कपूर, आलिया भट्ट, अमिताभ बच्चन, नागार्जुन, मौनी रॉय और शाहरुख खान जैसे कलाकार अहम किरदारों में हैं. हिंदू पौराणिक कथाओं पर आधारित इस साइंस-फिक्शन फिल्म को धर्मा प्रोडक्शन के बैनर तले करण जौहर ने प्रोड्यूस किया है. यही वजह है कि फिल्म रिलीज के पहले से ही बायकॉट गैंग के निशाने पर है. सोशल मीडिया पर फिल्म को बहिष्कार करने के लिए कहा जा रहा है. इसका असर भी दिख रहा है. लोग बड़ी संख्या में फेसबुक, ट्विटर और इंस्टाग्राम पर फिल्म के बारे में निगेटिव बातें लिख रहे हैं. उनका गुस्सा ये है कि बॉलीवुड हमेशा हिंदू धर्म की नकारात्मक छवि पेश करता रहा है. करण जौहर सुशांत सिंह राजपूत जैसे टैलेंटेड कलाकारों के दुश्मन हैं. वो बॉलीवुड में भाई-भतीजावाद फैला रहे हैं. इसका नतीजा ये कि लोग फिल्म को अभी से फ्लॉप घोषित कर चुके हैं.

बॉलीवुड बायकॉट मुहिम के बीच रिलीज हुई फिल्म 'ब्रह्मास्त्र' ने ओपनिंग डे पर बॉक्स ऑफिस कलेक्शन के मामले में कमाल कर दिया है. इस साल रिलीज हुई बॉलीवुड की तमाम बड़े बजट की डिजास्टर फिल्मों के बीच 'ब्रह्मास्त्र' ने पहले दिन वर्ल्डवाइड 75 करोड़ रुपए का कलेक्शन किया है. इसमें फिल्म ने इंडियन बॉक्स ऑफिस पर 36 करोड़ का कलेक्शन किया है, जिसमें हिंदी वर्जन से 32 करोड़ रुपए, तेलुगू से 3.7 करोड़ रुपए, कन्नड से 1 लाख रुपए, तमिल से 7 लाख रुपए और मलयालम से 1 लाख रुपए का कलेक्शन किया है. बाकी पैसे ओवरसीज कलेक्शन से मिले हैं. यह पहली बार हुआ कि किसी बॉलीवुड फिल्म ने साउथ बॉक्स ऑफिस पर अपना खाता खोला है. वरना इससे पहले रिलीज अधिकांश फिल्मों का साउथ कलेक्शन जीरो होता रहा है. कमाई के लिहाज से देखें तो 'ब्रह्मास्त्र' कोरोना काल के बाद बॉक्स ऑफिस पर पहले दिन सबसे ज्यादा कमाई करने वाली हिंदी फिल्म बन गई है.

450 करोड़ रुपए बजट में बनी फिल्म 'ब्रह्मास्त्र' का निर्देशन अयान मुखर्जी ने किया है. इसमें रणबीर कपूर, आलिया भट्ट, अमिताभ बच्चन, नागार्जुन, मौनी रॉय और शाहरुख खान जैसे कलाकार अहम किरदारों में हैं. हिंदू पौराणिक कथाओं पर आधारित इस साइंस-फिक्शन फिल्म को धर्मा प्रोडक्शन के बैनर तले करण जौहर ने प्रोड्यूस किया है. यही वजह है कि फिल्म रिलीज के पहले से ही बायकॉट गैंग के निशाने पर है. सोशल मीडिया पर फिल्म को बहिष्कार करने के लिए कहा जा रहा है. इसका असर भी दिख रहा है. लोग बड़ी संख्या में फेसबुक, ट्विटर और इंस्टाग्राम पर फिल्म के बारे में निगेटिव बातें लिख रहे हैं. उनका गुस्सा ये है कि बॉलीवुड हमेशा हिंदू धर्म की नकारात्मक छवि पेश करता रहा है. करण जौहर सुशांत सिंह राजपूत जैसे टैलेंटेड कलाकारों के दुश्मन हैं. वो बॉलीवुड में भाई-भतीजावाद फैला रहे हैं. इसका नतीजा ये कि लोग फिल्म को अभी से फ्लॉप घोषित कर चुके हैं.

Twitter पर लोग क्या लिख रहे हैं...

ट्विटर पर एक यूजर ने लिखा है कि रणबीर कपूर और आलिया भट्ट की फिल्म 'ब्रह्मास्त्र' आमिर खान की फिल्म 'लाल सिंह चड्ढा' से बड़ी डिजास्टर होने वाली है. हमें अपने दोस्तों, सहकर्मियों और परिजनों से कहना चाहिए कि वो लोग इस फिल्म को ना देखें. यदि वो ये फिल्म देखते हैं, तो उनके लिए शर्म की बात है. अपने नजदीकी सिनेमाघरों के बाहर खड़े हो जाएं और लोगों से कहें कि वे इस फिल्म को देखने ना जाएं. इसी पोस्ट के जवाब में एक यूजर अनुराग त्रिपाठी लिखते हैं, ''मैं एक हिंदू ब्राह्मण हूं. मैं बीजेपी और मोदी जी का समर्थक भी हूं. लेकिन मैंने ब्रह्मास्त्र देखने के लिए अपनी पूरी फैमिली का टिकट कटाया है. क्योंकि मैं देखना चाहता हूं कि इस फिल्म में हिंदू पौराणिक कथाओं का महिमामंडन किस तरह से किया गया है. विवेक लिखते हैं, ''इस फिल्म को देखने के बाद हमें शर्म क्यों आनी चाहिए? ये हमारी भारतीय संस्कृति पर आधारित है, इसलिए देखने में शर्म कैसा?''

एमडी सोपान फिल्म को 5 में से 1 स्टार देते हुए लिखते हैं, ''आखिरकार मैंने ब्रह्मास्त्र देख ली. मुझे यकीन नहीं हो रहा है कि इतना घटिया स्क्रीनप्ले का स्तर होगा. फिल्म कहानी स्तरीय नहीं है. इस फिल्म की सबसे खास और अच्छी बात शाहरुख खान का कैमियो है. फिल्म की लंबाई 20 से 25 मिनट तक कम की जा सकती थी.'' एक दूसरे यूजर लिखते हैं, ''सच सामने आ चुका है. दबाव देकर कराई गई कॉर्पोरेट बुकिंग, कैंसिल होने वाली एजेंट की बुकिंग और कॉम्प्लिमेंट्री टिकट की सच्चाई उजागर हो चुकी है. जनता ने करण जौहर की फिल्म ब्रह्मास्त्र को रिजेक्ट कर दिया है. फेक पीआर, गलत आंकड़े और फ्रॉड रिव्यू बुरी फिल्म को अच्छी साबित नहीं कर सकते. ये पब्लिक है, सब जान चुकी है.'' वहीं करण लिखते हैं, ''फिल्म देखते समय मेरे चारों तरफ तालियां बज रही थीं. लोगों को गर्व हो रहा था कि बॉलीवुड भी ऐसी बेहतरीन फिल्म बना सकता है, जिसमें बेहतरीन सिनेमाई अनुभव है.''

आगमजोत सिंह फिल्म की तारीफ करते हुए लिखते हैं, ''क्या शानदार मनोरंजक फिल्म है ब्रह्मास्त्र! ये एक ऐसी फिल्म है, जिसने हिंदी सिनेमा में नए मानक स्थापित किए हैं. बस मुझे एक ही चीज है, जो अच्छी नहीं लगी, वो मैं स्पॉइलर की वजह से बता नहीं रहा हूं. मैं अयान मुखर्जी से अनुरोध करता हूं कि वो जल्द से जल्द दूसरा पार्ट भी रिलीज करें.'' अर्जुन लिखते हैं, ''रणबीर और आलिया के बीच प्रभावशाली केमिस्ट्री देखने को मिलती है. शानदार विजुअल हैं, जो हैरान कर देते हैं. पटकथा भी उत्कृष्ट है. अयान मुखर्जी ने मुझे कभी निराश नहीं किया है. उन्होंने हॉलीवुड स्तर की बेहतरीन फिल्म बनाई है. इसे अपने नजदीकी सिनेमाघर में जाकर जरूर देखें'' टेसा स्मिथ लिखती हैं, ''ब्रह्मास्त्र पार्ट एक: शिव ने मुझे चकित कर दिया है. बॉलीवुड के साथ मेरा पहला अनुभव है. इसमें वो सब है जो हॉलीवुड फिल्मों देखती आ रही हूं. यह बहुत हद तक मार्वल की फिल्मों की तरह महसूस होता है.''

Google पर कैसी समीक्षा आई है...

गूगल रिव्यू में विजय सुंदरम लिखते हैं, ''बहुत दिनों बाद बेहतरीन और शानदार फिल्म बनी है. आमतौर पर, मैं बॉलीवुड फिल्मों को प्रोत्साहित नहीं करता लेकिन इस फिल्म में एक कहानी है जो हमारे धैर्य की परीक्षा लेती है. फिल्म का पहला हाफ- किलर, दूसरा हाफ- थोड़ा धीमा है. मैं कह सकता हूं, भारत में पहली बार सर्वश्रेष्ठ ग्राफिक्स फिल्म बनी है. भगवान के लिए इस फिल्म का बहिष्कार मत कीजिए. ये पूरी तरह पैसा वसूल फिल्म है. मैं इसे 5 में से 4 स्टार दे रहा हूं.'' जॉन्हवी लिखती हैं, ''ब्रह्मास्त्र भारत में बनी अब तक की सबसे बेहतरीन फिल्मों में से एक है. बेहतरीन वीएफएक्स. अयान मुखर्जी को नमन. आलिया और आरके के बीच अच्छी केमिस्ट्री. अच्छी कहानी. सभी क्रू द्वारा शानदार काम. अमिताभ और नागा अर्जुन महान हैं. शाहरुख खान का कैमियो शानदार है. मौनी रॉय बेशक विलेन हैं, लेकिन उनसे प्यार हो जाता है. फिल्म आपको प्यार करना और जीना सीखाती है.''

IMDb पर क्या रेटिंग मिली है...

फिल्म 'ब्रह्मास्त्र' को आईएमडीबी पर 10 में से 5 रेटिंग मिली है. इस फिल्म को पिछले 24 घंटे में 49 हजार लोगों ने रेट किया है और 50 लोगों ने अपने रिव्यू लिखे हैं. कुल रेटिंग में से 30 फीसदी यानी 14,743 लोगों ने 10 में से 10 रेटिंग दी है. लेकिन चौंकाने वाली बात ये है कि 50 फीसदी यानी 24,682 लोगों ने फिल्म को 10 में से 1 रेटिंग दी है. इस तरह से देखा जाए तो आईएमडीबी पर रेट करने वालों में से ज्यादातर लोगों ने फिल्म को नापसंद किया है. आईएडीबी पर एक दर्शक राहुल वैद्य लिखते हैं, ''पिछले साल बॉलीवुड की निराशाजनक फिल्मों के बाद, इस फिल्म ने एक उम्मीद जगाई थी. फिल्म का ट्रेलर कमाल का लगा था. सब कुछ सकारात्मक दिख रहा था. लेकिन बॉलीवुड ने फिर से अपनी औसत दर्जे का प्रदर्शन किया है. एक बार फिर फिल्म अपनी तड़क-भड़क वाली कहानी और खराब स्क्रीनप्ले की वजह से धराशायी हो गई है. इस फिल्म के निर्माताओं ने इसे शानदार दृश्यों के साथ कवर करने की कोशिश की है, लेकिन कहानी इतनी कमजोर है कि तमाम कोशिशों के बावजूद उनको सफलता नहीं मिलती. फिल्म को 5 में से 2 स्टार देता हूं.''

आइए ट्विटर पर आई कुछ लोगों की प्रतिक्रिया देखते हैं...

 


इस लेख में लेखक ने अपने निजी विचार व्यक्त किए हैं. ये जरूरी नहीं कि आईचौक.इन या इंडिया टुडे ग्रुप उनसे सहमत हो. इस लेख से जुड़े सभी दावे या आपत्ति के लिए सिर्फ लेखक ही जिम्मेदार है.

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