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गिरिराज सिंह सुन लें- 'होई है वही जो कोर्ट रचि राखा'

    • बिलाल एम जाफ़री
    • Updated: 02 अक्टूबर, 2018 05:32 PM
  • 02 अक्टूबर, 2018 05:27 PM
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समय-समय पर भाजपा के फायर ब्रांड नेता गिरिराज सिंह बयान देते रहते हैं. एक बार फिर उन्होंने बयान दिया है और उनका बोलना ये बता देता है कि उनकी नजर में कानून की कोई महत्त्व नहीं है.

'मुसलमान अयोध्‍या में राम मंदिर बनाने में मदद करें. यदि हिंदुओं का सब्र का बांध टूट गया तो वे काशी, मथुरा और अयोध्‍या पर कब्‍जा कर लेंगे. मुसलमानों को राम मंदिर बनाने में मदद करनी चाहिए क्‍योंकि वे भी भगवान राम के वंशज हैं, मुगल बादशाह बाबर के नहीं.'

अपने बयान से एक बार फिर गिरिराज सिंह अपने आलोचकों के निशाने पर आ गए हैं

उपरोक्त बयान किसी दूसरे देश से नहीं बल्कि अपने ही देश से आया है, और इसे देने वाले कोई और नहीं बल्कि भाजपा के फायर ब्रांड नेता और केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह हैं. ज्ञात हो कि राजनीति से जुड़े व्यक्ति के लिए बोलना या फिर बोलते रहना बहुत जरूरी है. ऐसा करते हुए वो न सिर्फ अपने समर्थकों को लुभाता है और उनकी गुड बुक्स में बना रहता है बल्कि इससे अच्छी खासी पब्लिसिटी और मीडिया अटेंशन भी हासिल होता है. कहना गलत नहीं है एक नेता के लिए चुप्पी किसी सजा की तरह है जो उसे लगातार कचोटती है. बहुत दिनों से चुप, केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह एक कार्यक्रम में अपनी उपस्थिति दर्ज कराने के लिए मथुरा में थे. मथुरा में गिरिराज सिंह भावों में बह गए और हमेशा की तरह एक बार फिर बड़ा ही बेतुका देखर आलोचकों के निशाने पर आ गए हैं.

खबर समाचार एजेंसी एएनआई के हवाले से है. खबर के अनुसार मथुरा में आयोजित एक कार्यक्रम में गिरिराज सिंह ने कहा है कि, 'अगर मुसलमानों ने राम मंदिर बनाने में मदद नहीं की तो मुझे दुख होगा क्‍योंकि मुस्लिम भी भगवान राम के वंशज है. वे बाबर के वंशज नहीं हैं.' इसके अलावा गिरिराज सिंह का तर्क ये भी था कि यदि हिंदुओं ने संयम खो दिया तो वे मथुरा, काशी और अयोध्‍या पर कब्‍जा कर लेंगे.

कार्यक्रम में गिरिराज सिंह ने न सिर्फ राम मंदिर पर मुसलमानों को आड़े...

'मुसलमान अयोध्‍या में राम मंदिर बनाने में मदद करें. यदि हिंदुओं का सब्र का बांध टूट गया तो वे काशी, मथुरा और अयोध्‍या पर कब्‍जा कर लेंगे. मुसलमानों को राम मंदिर बनाने में मदद करनी चाहिए क्‍योंकि वे भी भगवान राम के वंशज हैं, मुगल बादशाह बाबर के नहीं.'

अपने बयान से एक बार फिर गिरिराज सिंह अपने आलोचकों के निशाने पर आ गए हैं

उपरोक्त बयान किसी दूसरे देश से नहीं बल्कि अपने ही देश से आया है, और इसे देने वाले कोई और नहीं बल्कि भाजपा के फायर ब्रांड नेता और केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह हैं. ज्ञात हो कि राजनीति से जुड़े व्यक्ति के लिए बोलना या फिर बोलते रहना बहुत जरूरी है. ऐसा करते हुए वो न सिर्फ अपने समर्थकों को लुभाता है और उनकी गुड बुक्स में बना रहता है बल्कि इससे अच्छी खासी पब्लिसिटी और मीडिया अटेंशन भी हासिल होता है. कहना गलत नहीं है एक नेता के लिए चुप्पी किसी सजा की तरह है जो उसे लगातार कचोटती है. बहुत दिनों से चुप, केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह एक कार्यक्रम में अपनी उपस्थिति दर्ज कराने के लिए मथुरा में थे. मथुरा में गिरिराज सिंह भावों में बह गए और हमेशा की तरह एक बार फिर बड़ा ही बेतुका देखर आलोचकों के निशाने पर आ गए हैं.

खबर समाचार एजेंसी एएनआई के हवाले से है. खबर के अनुसार मथुरा में आयोजित एक कार्यक्रम में गिरिराज सिंह ने कहा है कि, 'अगर मुसलमानों ने राम मंदिर बनाने में मदद नहीं की तो मुझे दुख होगा क्‍योंकि मुस्लिम भी भगवान राम के वंशज है. वे बाबर के वंशज नहीं हैं.' इसके अलावा गिरिराज सिंह का तर्क ये भी था कि यदि हिंदुओं ने संयम खो दिया तो वे मथुरा, काशी और अयोध्‍या पर कब्‍जा कर लेंगे.

कार्यक्रम में गिरिराज सिंह ने न सिर्फ राम मंदिर पर मुसलमानों को आड़े हाथों लिया बल्कि उन्होंने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी पर भी निशाना साधा. कांग्रेस पर बड़ा प्रहार करते हुए गिरिराज सिंह ने  पार्टी अध्यक्ष राहुल गांधी पर आरोप लगाया कि वह भगवान शिव की पूजा करने वाले और 'हर हर महादेव' कहने वाले कार्यकर्ताओं को निकाल रहे हैं. गि‍रिराज सिंह ने राहुल गांधी को हिदायत देते हुए ये भी कहा है कि, 'अगर आप(राहुल गांधी) सच्‍चे हिंदू हैं तो फिर पार्टियों में बीफ खाना और चुनाव से ठीक पहले मंदिर जाना बंद करिए.'

बहरहाल, गिरिराज सिंह भले ही कुछ दिन से बिल्कुल खाली और तमाम मुद्दों पर चुप्पी साधे हुए एकदम शांत बैठे हों. मगर उन्हें इस बात का पूरा एहसास है कि कैसे और कब उन्हें भगवान श्री राम का नाम इस्तेमाल करना है और सुर्खियों में आना है. ये कहना हमारे लिए अतिश्योक्ति न होगा कि क्या सत्ता पक्ष, क्या विपक्ष कांग्रेस से लेकर भाजपा तक सब इस बात को भली प्रकार जानते हैं कि राम मंदिर और भगवान श्री राम के नाम में इतना बल है कि इसके दम पर कभी भी राजनीतिक रोटियां सेंकी जा सकती हैं और लाइम लाइट हासिल की जा सकती है. 

अब जबकि भाजपा के फायर ब्रांड नेता गिरिराज सिंह ये बयान दे चुके हैं तो इसे सुनकर किसी को भी आहत होने या इसपर प्रतिक्रिया देने की कोई बहुत ज्यादा जरूरत नहीं है. गिरिराज सिंह खाली थे और उन्हें कुछ तूफानी कर सुर्खियां बटोरनी थीं तो उन्होंने ऐसा कह दिया. बाक़ी जानते इस बात को गिरिराज सिंह भी हैं कि उनके दहाड़ने से कुछ होना नहीं है. मामला कोर्ट में है और कोर्ट ही फैसले का निर्धारण करेगा.

अंत में हम गिरिराज सिंह को बस एक छोटा सा सन्देश देते हुए अपनी बात खत्म करेंगे कि वो एक चुने हुए प्रतिनिधि होने के नाते अपनी जिम्मेदारी को समझें और कम से कम कोर्ट का सम्मान करें. वो आज जिस तरह के बयान दे रहे हैं उससे देश की पूरी जनता के सामने न सिर्फ उनकी बल्कि पूरी पार्टी की छवि धूमिल हो रही है.

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इस लेख में लेखक ने अपने निजी विचार व्यक्त किए हैं. ये जरूरी नहीं कि आईचौक.इन या इंडिया टुडे ग्रुप उनसे सहमत हो. इस लेख से जुड़े सभी दावे या आपत्ति के लिए सिर्फ लेखक ही जिम्मेदार है.

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